रविवार, 25 फ़रवरी 2018

इंतजार

तेरी यादों में डूबकर आँसू बहाना
मेरे प्यार की हद थी।
बंद आँखों से भी तुम्हें देख पाना
तेरे दीदार की हद थी।
दिल में असीम चाहत है फिर भी
तुमसे न कुछ कह पाना।
मर गए हम मगर खुली रहीं आँखें
मेरे इंतजार की हद थी।

डॉ. अनिता सिंह

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